भारत में जून-जुलाई का महीना अक्सर तेज़ बारिश और आंधी-तूफान के लिए जाना जाता है। इस साल जुलाई 2025 में भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने कई राज्यों के लिए भारी बारिश और तेज़ हवाओं की चेतावनी जारी की है। इस समयदेश के अलग-अलग हिस्सों में मानसून पूरी ताकत के साथ सक्रिय है, जिससे आम लोगों के साथ ही किसानों और प्रशासन की चुनौती भी बढ़ गई है।
IMD के अलर्ट के अनुसार, कई इलाकों में हवाएं 70 किलोमीटर प्रति घंटे तक की रफ्तार से चल सकती हैं। साथ ही भारी बारिश और बिजली गिरने का भी खतरा बढ़ गया है। मौसम विभाग ने सभी नागरिकों से सतर्क रहने और सुरक्षित स्थानों पर रहने की सलाह दी है।
प्रशासनिक एजेंसियां भी अलर्ट पर हैं, ताकि किसी भी आपात स्थिति से तुरंत निपटा जा सके।
IMD Weather Alert: Latest Update
भारतीय मौसम विभाग की ताज़ा चेतावनी के मुताबिक, दिल्ली-एनसीआर, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, महाराष्ट्र, कर्नाटक, केरल, तेलंगाना, तमिलनाडु, संरक्षित पश्चिमी तटीय राज्य जैसे गोवा और कोंकण, बिहार, झारखंड, ओडिशा, पूर्वोत्तर के कई हिस्सों, और बंगाल के कुछ जिलों में अगले कुछ दिनों तक भारी बारिश और तेज़ हवाएं चलने की आशंका है।
इन इलाकों में हवाओं की रफ्तार 50-70 किमी/घंटा तक पहुंच सकती है, जो बिजली, यातायात, पेड़-पौधों और कमजोर संरचनाओं के लिए खतरा बन सकती है। दिल्ली-एनसीआर समेत कई बड़े शहरों में बीते कुछ दिनों में पहले से ही बारिश और धूल भरी आंधी के कारण जलभराव, ट्रैफिक जाम और छोटे-मोटे नुकसान की खबरें सामने आई हैं।
मौसम विभाग द्वारा जारी ‘ऑरेंज अलर्ट’ का मतलब है कि जनता को और प्रशासन को खास सतर्कता बरतनी चाहिए। ऐसी स्थिति में सामान्य जनजीवन के बाधित होने की संभावना काफी बढ़ जाती है।
किन राज्यों/क्षेत्रों में क्या है स्थिति
- दिल्ली, हरियाणा, यूपी, राजस्थान, पंजाब, उत्तराखंड, और जम्मू-कश्मीर में अलग-अलग दिनों पर भारी बारिश के साथ तेज़ हवाओं का अनुमान है।
- कर्नाटक, केरल, तमिलनाडु, तेलंगाना, आंध्रप्रदेश, और महाराष्ट्र के तटीय और पहाड़ी क्षेत्रों में भारी तथा अति भारी वर्षा दर्ज की जा सकती है। कुछ स्थानों पर हवाओं की स्पीड 40-70 किमी/घंटा तक जा सकती है।
- पश्चिम बंगाल, झारखंड, ओडिशा, बिहार और पूर्वोत्तर राज्यों में लगातार हल्की से मध्यम बारिश और कभी-कभी तेज हवाएं चल सकती हैं।
सरकारी/प्रशासनिक तैयारी और गाइडलाइंस
IMD का अलर्ट केवल पूर्वानुमान भर नहीं बल्कि एक सुरक्षा चेतावनी है। बाढ़, जलभराव, पेड़ गिरना, बिजली गिरना, बिजली सप्लाई में दिक्कत, और यातायात में बाधाएं जैसी संभावना बढ़ जाती है। ऐसे समय में कई सरकारी और प्रशासनिक एजेंसियां, जैसे कि आपदा प्रबंधन विभाग, सिविल डिफेंस, नगर निगम, बिजली विभाग, और कृषि महकमा सतर्क होकर राहत एवं बचाव योजनाएँ सक्रिय कर देते हैं।
सरकार की तरफ से आम नागरिकों और किसानों के लिए निम्नलिखित एहतियाती कदम सुझाए गए हैं:
- खुले में या पेड़ों के नीचे जाने से बचें, खासकर बारिश और तेज़ हवाओं के दौरान।
- बिजली के पोल, पुराने या कमजोर मकानों, और जलभराव वाली जगहों से दूर रहें।
- घर/दफ्तर की खिड़कियां, दरवाजे बंद रखें।
- कृषि कार्य रोककर खेतों में न रहें; जरूरी फसलों की सुरक्षा का इंतजाम करें।
- बिजली या संचार के तार टूटने पर तुरंत प्रशासन को सूचना दें।
इसके अलावा, स्थानीय प्रशासन और राज्य सरकारें किसी आपात स्थिति में राहत कैंप, फूड पैकेट्स, मेडिकल हेल्प और अस्थायी आवास जैसी सहायता उपलब्ध कराने के लिए भी तैनात रहती हैं।
खेती-बाड़ी और जनसाधारण के लिए सुझाव
किसानों और ग्रामीण क्षेत्र के लोगों के लिए यह मौसम चुनौतीपूर्ण हो सकता है। जैसाकि IMD की एडवाइजरी में साफ लिखा है, तेज़ हवाएं केले, पपीता, आम जैसे फलदार पेड़ों और कच्ची फसलों को नुकसान पहुंचा सकती हैं। इसलिए:
- फसलों की कटाई/ग्रहण करने वाले काम न करें।
- पशुओं को सुरक्षित स्थान पर बांध दें।
- जल-संग्रहण, नालियों की सफाई आदि का ध्यान रखें।
- अपने मोबाइल व अन्य जरूरी सामान चार्ज रखें।
निष्कर्ष
देश के ज्यादातर हिस्सों में जुलाई 2025 में मौसम का मिजाज अचानक तेज़ और खतरनाक हो सकता है। IMD की चेतावनियों का पालन करते हुए सतर्क रहना ही सुरक्षा और नुकसान से बचाव का बेहतर तरीका है। हवा और बारिश दोनों की मिली-जुली मार से सुरक्षित रहने और प्रशासन की गाइडलाइंस का पालन करना आवश्यक है।